निर्विरोध चुने जाने की संभावना प्रबल
भोपाल:मध्य प्रदेश की राजनीति में आज एक अहम मोड़ तब आया जब भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता और बैतूल से विधायक हेमंत खंडेलवाल ने पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष पद के लिए अपना नामांकन दाखिल किया। हेमंत खडेलवाल के मुख्यमंत्री डॉक्टर मोहन यादव खुद प्रस्तावक बने है। यह नामांकन राजधानी भोपाल स्थित भाजपा के प्रदेश कार्यालय में दाखिल किया गया, जहां पार्टी पदाधिकारियों और समर्थकों की भारी भीड़ देखने को मिली।
प्रदेश अध्यक्ष बनना तय
सुबह से ही इस बात की चर्चाएं तेज थीं कि प्रदेश अध्यक्ष पद के लिए हेमंत खंडेलवाल का नाम लगभग तय माना जा रहा है। जब दोपहर के समय उन्होंने औपचारिक रूप से अपना नामांकन दाखिल किया, तब यह लगभग स्पष्ट हो गया कि वे ही प्रदेश अध्यक्ष की जिम्मेदारी संभालेंगे। खास बात यह रही कि अंतिम समय तक उनके अलावा किसी अन्य नेता ने नामांकन नहीं भरा, जिससे उनके निर्विरोध चुने जाने की संभावना बेहद मजबूत हो गई है।
राजनीतिक अनुभव और संगठन पर पकड़ बनी ताकत
संगठनात्मक कामों में हेमंत खंडेलवाल की सक्रिय भूमिका रहती है। वे बैतूल क्षेत्र से एक बार सांसद और दो बार विधायक चुने गए हैं और पार्टी के नीतियों के प्रति उनकी निष्ठा वफादारी के तौर पर जानी जाती है। यही कारण है कि शीर्ष नेतृत्व और संगठन का एक बड़ा वर्ग उन्हें प्रदेश संगठन की कमान सौंपने के पक्ष में नजर आया।
एक नजर:राजनैतिक सफर पर
हेमंत खंडेलवाल, जो 3 सितंबर 1964 को जन्मे थे, मध्य प्रदेश के लोकप्रिय नेता और वर्तमान में बैतूल विधानसभा क्षेत्र से विधायक हैं। वे भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) से जुड़े हैं और वर्षों से जनता की सेवा में सक्रिय भूमिका निभा रहे हैं।
हेमंत खंडेलवाल की राजनीतिक यात्रा वर्ष 2008 में तब शुरू हुई जब उनके पिता और बैतूल से सांसद रहे विजय कुमार खंडेलवाल के निधन के बाद वे उपचुनाव में कांग्रेस के सुखदेव पांस को हराकर वे 14वीं लोकसभा के सांसद बने। इसके बाद उन्होंने 2013 में विधानसभा चुनाव में उन्होंने कांग्रेस के हेमंत वागद्रे को पराजित किया था और विधायक के रूप में अपनी भूमिका निभाई और 2013 से 2018 तक विधायक रहे।
2018 में भाजपा ने उन्हें विधानसभा का उम्मीदवार बनाया था लेकिन इस चुनाव में कांग्रेस के निलय डागा ने उन्हें चुनाव हरा दिया था ।
राजनीति में उनकी सक्रियता और जनता के प्रति समर्पण ने उन्हें एक बार फिर 2023 में भाजपा ने उन पर भरोसा जताया और इस बार उन्होंने कांग्रेस के निलय डागा को पराजित किया और दूसरी बार विधायक बने ,और वे वर्तमान में बैतूल क्षेत्र से विधायक के रूप में कार्यरत हैं।
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