Approval: नई दिल्ली | भारत के रक्षा क्षेत्र में एक ऐतिहासिक कदम उठाया गया है। केंद्र सरकार ने देश में बनने वाले 5वीं पीढ़ी के लड़ाकू विमान, एडवांस्ड मीडियम कॉम्बैट एयरक्राफ्ट (AMCA) के प्रोडक्शन मॉडल को हरी झंडी दे दी है। इस फैसले से न सिर्फ भारत की सैन्य ताकत में वृद्धि होगी, बल्कि स्वदेशी रक्षा उत्पादन को भी नया आयाम मिलेगा।
✅ निजी कंपनियों को भी मिलेगा मौका
रक्षा मंत्रालय ने मंगलवार को बताया कि इस अत्याधुनिक फाइटर जेट के निर्माण के लिए सरकारी और निजी दोनों कंपनियों को बोली लगाने का मौका दिया जाएगा। जल्द ही एयरोनॉटिकल डेवलपमेंट एजेंसी (ADA) एक्सप्रेशन ऑफ इंटरेस्ट (EoI) जारी करेगी। इस घोषणा के बाद डिफेंस सेक्टर की कंपनियों के शेयरों में लगभग 6% की तेजी देखी गई, और निफ्टी इंडिया डिफेंस इंडेक्स नई ऊंचाई 8674.05 पर पहुंच गया।
🛩️ क्या है AMCA प्रोजेक्ट?
AMCA भारत में बनने वाला दूसरा स्वदेशी लड़ाकू विमान होगा, जो 5वीं पीढ़ी की तकनीकों से लैस होगा:
- स्टेल्थ तकनीक से लैस, जो दुश्मन के रडार से बचने में सक्षम।
- सुपरसोनिक क्रूज, AI-आधारित एवियोनिक्स, और एडवांस्ड वेपन सिस्टम से युक्त।
- अंतरराष्ट्रीय स्तर के अन्य 5वीं पीढ़ी के लड़ाकू विमानों के समकक्ष या बेहतर।
इस प्रोजेक्ट को अप्रैल 2024 में कैबिनेट की सुरक्षा समिति (CCS) से 15,000 करोड़ रुपये की मंजूरी मिली थी।
🇮🇳 तेजस के बाद AMCA दूसरी बड़ी उपलब्धि
AMCA से पहले भारत ने लाइट कॉम्बैट एयरक्राफ्ट (LCA) तेजस का निर्माण किया है। इसके अलग-अलग वर्जन जैसे तेजस MK-1 और MK-1A पहले से ही भारतीय वायुसेना में शामिल हैं।
तेजस की प्रमुख विशेषताएं:
- 50% कलपुर्जे स्वदेशी
- इजरायली EL/M-2052 रडार से लैस
- एकसाथ 10 लक्ष्यों को ट्रैक और हमला करने में सक्षम
- हल्के वजन (6500 किलो) और छोटी दूरी से टेकऑफ की क्षमता (460 मीटर)
भारतीय वायुसेना के पास वर्तमान में 31 तेजस जेट हैं, जिनमें से कई को जम्मू-कश्मीर जैसे संवेदनशील इलाकों में तैनात किया गया है।
🔭 2035 तक तैनाती संभव
सूत्रों के मुताबिक, AMCA का उत्पादन वर्ष 2030 तक शुरू हो सकता है और इसे 2035 तक भारतीय वायुसेना और नौसेना में तैनात किए जाने की संभावना है।
साभार…
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