12 मार्च को होगा बजट पेश, 4 लाख करोड़ से अधिक का अनुमान
Budget: मध्यप्रदेश सरकार 12 मार्च 2025 को वित्तीय वर्ष 2025-26 का बजट विधानसभा में पेश करेगी। यह बजट 4 लाख करोड़ रुपये से अधिक का होगा। सरकार की प्राथमिकता गरीब, किसान, महिला और युवा वर्ग पर केंद्रित रहेगी। इसके साथ ही सिंहस्थ 2028 के लिए विशेष बजट प्रविधान किए जाएंगे।
🔹 बजट सत्र का शेड्यूल:
- 10 मार्च: राज्यपाल मंगुभाई पटेल के अभिभाषण से बजट सत्र की शुरुआत।
- 11 मार्च: आर्थिक सर्वेक्षण प्रस्तुत किया जाएगा।
- 12 मार्च: वित्त मंत्री बजट पेश करेंगे।
💰 डबल इंजन सरकार का असर: केंद्र से अधिक मदद
- मध्यप्रदेश को केंद्र सरकार के बजट में 1.5 लाख करोड़ रुपये से अधिक का प्रविधान मिला।
- 1,11,661 करोड़ रुपये केंद्रीय करों में हिस्सेदारी।
- 45,000 करोड़ रुपये से अधिक की सहायता अनुदान राशि।
- 2024-25 की तुलना में 15,908 करोड़ रुपये अधिक मिलने की संभावना।
इन आंकड़ों के आधार पर राज्य सरकार ने अपने बजट का प्रारूप तैयार किया है।
🎯 बजट की प्राथमिकताएं
1️⃣ गरीबों के लिए:
✅ ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में आवास निर्माण के लिए बड़ा वित्तीय प्रविधान।
✅ अनुसूचित जाति और जनजातीय कार्य विभाग को अधिक बजट मिलेगा।
2️⃣ किसानों के लिए:
✅ कृषि योजनाओं में बढ़ोतरी।
✅ सिंचाई और जल संसाधनों पर अधिक निवेश।
✅ ग्रामीण अधोसंरचना को बढ़ावा।
3️⃣ महिलाओं के लिए:
✅ महिला सशक्तीकरण योजनाओं के लिए अधिक फंडिंग।
✅ लाड़ली लक्ष्मी और मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना का विस्तार।
4️⃣ युवाओं के लिए:
✅ कौशल विकास और स्टार्टअप्स को बढ़ावा देने के लिए विशेष प्रविधान।
✅ औद्योगिक नीति के तहत 18 योजनाओं में उद्यमियों को प्रोत्साहन।
✅ भोपाल में एक बड़े कन्वेंशन सेंटर के निर्माण की योजना प्रस्तावित।
🏗️ पूंजीगत व्यय 70 हजार करोड़ से अधिक
राज्य सरकार अधोसंरचना विकास की परियोजनाओं को गति देने के लिए पूंजीगत व्यय बढ़ाकर 70 हजार करोड़ रुपये से अधिक कर सकती है। इसमें सड़क, पुल, जल प्रबंधन, औद्योगिक पार्क और अन्य बुनियादी ढांचा परियोजनाएं शामिल रहेंगी।
📊 राज्य सकल घरेलू उत्पाद (GSDP) में वृद्धि
- 2023-24 में GSDP: 13.63 लाख करोड़ रुपये।
- 2024-25 में संभावित GSDP: 15 लाख करोड़ रुपये के आसपास।
- राज्य की विकास दर और प्रति व्यक्ति आय में बढ़ोतरी का अनुमान।
मध्यप्रदेश सरकार का बजट 2025-26 सामाजिक कल्याण, बुनियादी ढांचे के विकास और औद्योगिक प्रगति पर केंद्रित रहेगा। गरीबों, किसानों, महिलाओं और युवाओं के लिए विशेष योजनाएं लाई जाएंगी, जबकि पूंजीगत व्यय को बढ़ाकर प्रदेश में अधोसंरचना विकास को गति दी जाएगी।
source internet… साभार….
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