New chapter: प्रयागराज के विमान सेवा इतिहास में शुक्रवार का दिन एक नई उपलब्धि के रूप में दर्ज हो गया। 106 वर्षों के बाद प्रयागराज एयरपोर्ट पर पहली बार रात में विमानों की लैंडिंग और टेकऑफ की शुरुआत हुई। एलाइंस एयर की गुवाहाटी-कोलकाता-प्रयागराज और जयपुर-दिल्ली-प्रयागराज उड़ानें शाम 7:30 बजे के बाद प्रयागराज में लैंड हुईं। इसके बाद भुवनेश्वर और दिल्ली की उड़ानें भी रात में रवाना हुईं।
इतिहास और मौजूदा स्थिति
- वर्ष 1919 में ब्रिटिश काल में बमरौली एयरपोर्ट (तत्कालीन इलाहाबाद) से लंदन के लिए सीधी उड़ानें संचालित होती थीं, जो 1932 तक जारी रहीं।
- 1946 तक यहां से अंतरराष्ट्रीय उड़ानें भी संचालित होती थीं।
- वर्ष 1941 से 2003 तक नियमित कमर्शियल फ्लाइट नहीं चली।
- 2003 से 2005 तक एयर सहारा ने दिल्ली व कोलकाता के लिए सीमित उड़ानें दीं।
- 2013 में एलायंस एयर ने दिल्ली और मुंबई के लिए उड़ान शुरू की लेकिन वह भी बंद हो गई।
कुंभ मेले की आवश्यकता और विकास
- कुंभ 2019 के अवसर पर सिविल एयरपोर्ट की जरूरत को महसूस किया गया और वर्ष 2018 में आधारभूत सुविधाओं में सुधार शुरू हुआ।
- 2019 में नया टर्मिनल बना और अब 26 शहरों के लिए कनेक्टिंग व सीधी उड़ानें उपलब्ध हैं।
आवश्यकता व सुविधाएं
- एयर ट्रैफिक कंट्रोल वायु सेना के पास है, जिसे रात में विमानों के संचालन की अनुमति प्राप्त थी।
- इस वर्ष कैट टू इंस्ट्रूमेंट लैंडिंग सिस्टम के माध्यम से एयरपोर्ट पर 24 घंटे उड़ानें संचालित की जा सकती हैं।
- अब एयरपोर्ट पर दो टैक्सी वे और नया टर्मिनल 15 जनवरी से शुरू होगा।
- नए टर्मिनल में 1,080 यात्री प्रतिघंटे सेवा ले सकेंगे।
- टर्मिनल का क्षेत्रफल 8,500 वर्ग मीटर हो गया है और इसकी लागत 217 करोड़ रुपये है।
आवागमन आंकड़े
शुक्रवार को इंडिगो की पांच, एलायंस एयर की दो, और अकासा एयर की एक उड़ान से 2,060 यात्रियों का आवागमन हुआ।
- आज से कोलकाता के लिए उड़ानें भी शुरू हो जाएंगी।
- बंगलुरु के लिए भी सप्ताह में सातों दिन उड़ानें उपलब्ध होंगी।
प्रयागराज एयरपोर्ट की रात में उड़ानों की शुरुआत से न केवल विमान सेवा की सुविधा बढ़ेगी, बल्कि क्षेत्र में विकास और रोजगार के नए अवसर भी सृजित होंगे।
source internet… साभार….
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