Marriage: देर से शादी करने के फायदे और नुकसान दोनों हैं, और यह पूरी तरह व्यक्ति की प्राथमिकताओं, परिस्थितियों और जीवन के लक्ष्यों पर निर्भर करता है।
लेट मैरिज के फायदे
✅ करियर पर ध्यान देने का मौका – शादी में देरी से व्यक्ति को अपने करियर को मजबूत करने और आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बनने का अवसर मिलता है।
✅ फाइनेंशियल स्टेबिलिटी – शादी के बाद बढ़ने वाली जिम्मेदारियों को बेहतर तरीके से संभालने के लिए आर्थिक मजबूती जरूरी होती है, जो देर से शादी करने पर संभव हो पाती है।
✅ सपनों को पूरा करने का समय – ट्रैवलिंग, पढ़ाई, बिजनेस स्टार्ट करने जैसे कई सपनों को पूरा करने के लिए शादी से पहले का समय महत्वपूर्ण हो सकता है।
✅ रिश्तों की बेहतर समझ – समय के साथ व्यक्ति अधिक परिपक्व हो जाता है, जिससे वह रिश्तों को ज्यादा समझदारी और धैर्य से संभाल पाता है।
लेट मैरिज के नुकसान
❌ प्रेग्नेंसी में दिक्कतें – महिलाओं की फर्टिलिटी उम्र के साथ घटती है, जिससे देर से शादी करने पर कंसीव करने में समस्या हो सकती है।
❌ पार्टनर चुनने के विकल्प सीमित होना – उम्र बढ़ने के साथ सही जीवनसाथी चुनने के अवसर कम हो सकते हैं।
❌ फिजिकल एनर्जी में कमी – उम्र के साथ शरीर की ऊर्जा कम हो सकती है, जिससे रिश्तों पर असर पड़ सकता है।
❌ बच्चों के साथ जनरेशन गैप – देर से शादी करने पर माता-पिता और बच्चों के बीच विचारों का अंतर अधिक हो सकता है।
❌ हेल्थ इशूज का खतरा – बढ़ती उम्र के साथ हाई ब्लड प्रेशर, डायबिटीज जैसी स्वास्थ्य समस्याएं हो सकती हैं, जो शादीशुदा जीवन को प्रभावित कर सकती हैं।
शादी का सही समय हर व्यक्ति के लिए अलग-अलग हो सकता है। यह एक व्यक्तिगत निर्णय है, जिसे जल्दबाजी में नहीं लेना चाहिए। सबसे जरूरी बात यह है कि शादी से पहले व्यक्ति मानसिक, भावनात्मक और आर्थिक रूप से तैयार हो।
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