40% वृद्धि का प्रस्ताव तैयार
Increase: भोपाल.मध्य प्रदेश में एक बार फिर माननीय विधायकों के वेतन और भत्तों में बढ़ोतरी की तैयारी की जा रही है। करीब 9 साल बाद प्रदेश के विधायकों के वेतन-भत्तों को बढ़ाने का रास्ता खुलता नजर आ रहा है। विधानसभा की सदस्य सुविधा समिति ने इस संबंध में प्रस्ताव तैयार कर संसदीय कार्य विभाग को सौंप दिया है।
वेतन में 40% और पेंशन में 30% बढ़ोतरी का प्रस्ताव
समिति ने विधायकों के मौजूदा वेतन-भत्तों में 40 फीसदी और पेंशन में लगभग 30 फीसदी की वृद्धि का प्रस्ताव रखा है। इसके पीछे आधार के रूप में अन्य राज्यों में विधायकों को मिलने वाली सुविधाओं का हवाला दिया गया है। फिलहाल यह प्रस्ताव विधानसभा सचिवालय की लेखा शाखा द्वारा मूल्यांकन प्रक्रिया में है।
वर्तमान में क्या सुविधाएं मिलती हैं विधायकों को?
मध्य प्रदेश में विधायकों का वेतन-भत्ता 2016 में आखिरी बार बढ़ाया गया था। फिलहाल उन्हें लगभग 1 लाख 10 हजार रुपए प्रतिमाह वेतन-भत्ते के रूप में मिलते हैं। इसके अलावा:
- रेल कूपन: राज्य के भीतर और बाहर यात्रा के लिए प्रथम श्रेणी में एससी कूपन।
- मेडिकल भत्ता: प्रति माह ₹10,000।
- बैठक भत्ता: विधानसभा की प्रत्येक बैठक में भाग लेने पर ₹2,500 दैनिक भत्ता।
- वार्षिक रेल यात्रा सीमा: 10,000 किलोमीटर।
नया प्रस्ताव क्या कहता है?
विधायकों की मांग पर तैयार किए गए प्रस्ताव में वेतन को 1.10 लाख से बढ़ाकर 1.50 लाख रुपए करने और पेंशन को 35 हजार से बढ़ाकर 58 हजार रुपए प्रतिमाह किए जाने की अनुशंसा की गई है।
विधानसभा सत्र के दौरान विधायकों ने लगातार यह मुद्दा उठाया था कि महंगाई में भारी वृद्धि, और जनता से मिलने आने वाले लोगों के “स्वागत-सत्कार” में बढ़ते खर्च के चलते यह बढ़ोतरी आवश्यक है।
देश में कौन सा राज्य देता है सबसे ज्यादा वेतन?
राज्य | मासिक वेतन-भत्ता (लगभग) |
---|---|
झारखंड | ₹2,90,000 |
तेलंगाना | ₹2,75,000 |
महाराष्ट्र | ₹2,60,000 |
मध्य प्रदेश | ₹1,10,000 (वर्तमान) |
इस संदर्भ में मध्य प्रदेश अब अन्य राज्यों की तुलना में काफी पीछे है। यही कारण है कि दोनों पक्षों के विधायकों ने मिलकर वेतन संशोधन की मांग की है।
अंतिम निर्णय शासन स्तर पर लंबित
विधानसभा सचिवालय के अधिकारियों के मुताबिक, प्रस्ताव विधायकों और पूर्व विधायकों के वेतन-भत्तों को लेकर तैयार किया गया है और इसे शासन को विचारार्थ भेजा गया है। अंतिम निर्णय मुख्यमंत्री और कैबिनेट की स्वीकृति के बाद लिया जाएगा।
साभार…
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